Ration: यूपी में राशन दुकानों का कायाकल्प, मुफ्त गेहूं-चावल के साथ अब मिलेंगी यह नई सुविधाएं
Ration: उत्तर प्रदेश सरकार राशन दुकानों को और अधिक सुविधाजनक और बहुउद्देशीय बनाने की दिशा में बड़ा कदम उठा रही है।
अब तक राशन दुकानों से मुफ्त गेहूं, चावल, चीनी और समय-समय पर अन्य अनाज उपलब्ध कराए जाते रहे हैं, लेकिन अब इन दुकानों को अन्नपूर्णा भवन के रूप में अपग्रेड किया जा रहा है।
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इन नए भवनों में न केवल खाद्यान्न वितरण होगा, बल्कि कई अन्य जनसुविधाएं भी एक ही स्थान पर उपलब्ध होंगी।
नई सुविधाएं जो बनाएंगी जीवन आसान
प्रदेश सरकार ने राशन दुकानों को जनसुविधा केंद्रों के रूप में विकसित करने की योजना बनाई है। इन दुकानों पर अब निम्नलिखित सुविधाएं उपलब्ध होंगी:-
- 5 किलो का एलपीजी सिलेंडर: छोटे परिवारों के लिए सुविधाजनक 5 किलोग्राम का गैस सिलेंडर अब राशन दुकानों से प्राप्त किया जा सकेगा।
- बिजली और फोन बिल जमा: ग्रामीण और कस्बाई क्षेत्रों में बिल जमा करने की सुविधा से लोगों को समय और मेहनत की बचत होगी।
- ई-स्टांप की बिक्री: कानूनी और संपत्ति से संबंधित कार्यों के लिए ई-स्टांप भी यहीं उपलब्ध होंगे।
- माइक्रो एटीएम: छोटे-मोटे लेनदेन के लिए माइक्रो एटीएम की सुविधा प्रदान की जाएगी।
- जनसुविधा केंद्र: आय, जाति, जन्म, निवास प्रमाण पत्र, आधार अपडेट, पेंशन और फैमिली आईडी में बदलाव जैसी सेवाएं एक ही स्थान पर मिलेंगी।
- पीएम वाणी वाई-फाई: इंटरनेट कनेक्टिविटी के लिए पीएम वाणी वाई-फाई सुविधा भी उपलब्ध होगी।
- अग्निशमन यंत्र: आपातकालीन सुरक्षा के लिए अग्निशमन यंत्र भी इन भवनों में उपलब्ध होंगे।
- जनरल स्टोर: रोजमर्रा की जरूरतों जैसे गुड़, घी, नमकीन, दूध पाउडर, बच्चों के कपड़े, मसाले, और अन्य 35 प्रकार की वस्तुएं भी बिक्री के लिए उपलब्ध होंगी।
- अन्नपूर्णा भवन: नया स्वरूप, नई सुविधाएं
प्रदेश सरकार पुरानी और जीर्ण-शीर्ण राशन दुकानों को अन्नपूर्णा भवनों में स्थानांतरित कर रही है।
ये भवन 484 वर्ग फुट के क्षेत्रफल में बनाए जा रहे हैं, जिनमें राशन वितरण के साथ-साथ गोदाम और जनसुविधा केंद्र भी होंगे।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हाल ही में 1,100 अन्नपूर्णा भवनों का लोकार्पण किया है, और हर जिले में प्रतिवर्ष 75-100 नए भवन बनाने का लक्ष्य रखा गया है।
इन भवनों के निर्माण के लिए मनरेगा, राज्य वित्त आयोग, सांसद निधि, विधायक निधि, पूर्वांचल और बुंदेलखंड विकास निधि जैसी योजनाओं से धनराशि का उपयोग किया जाएगा।
जहां इन योजनाओं से फंड उपलब्ध नहीं होगा, वहां खाद्य एवं रसद विभाग अपनी बचत से धनराशि की व्यवस्था करेगा। वर्ष 2025-26 के लिए 200 करोड़ रुपये का बजट आवंटित किया गया है।
शहरों में क्लस्टर मॉडल
शहरी क्षेत्रों में अन्नपूर्णा भवनों में क्लस्टर बनाए जाएंगे, जहां दो से पांच राशन दुकानें और जनसुविधा केंद्र एक साथ संचालित होंगे।
इससे आसपास के राशन कार्ड धारकों को एक ही स्थान पर सभी सुविधाएं मिल सकेंगी।
जमीन चयन के लिए एसडीएम की अध्यक्षता में एक समिति गठित की जाएगी, जिसमें तहसीलदार, खंड विकास अधिकारी, सहायक अभियंता और क्षेत्रीय खाद्य अधिकारी शामिल होंगे।
यह समिति यह सुनिश्चित करेगी कि भवन ऐसी जगह बनें जहां लाभार्थियों को खाद्यान्न लेने के लिए अधिक दूरी न तय करनी पड़े।
पारदर्शिता और तकनीक का उपयोग
राशन वितरण में पारदर्शिता लाने के लिए अन्नपूर्णा भवनों में ई-वेइंग स्केल और ई-पॉस मशीनों का उपयोग किया जाएगा। इससे राशन की घटतौली और गड़बड़ी को रोका जा सकेगा।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि तकनीक के उपयोग से राशन वितरण प्रणाली में सुधार हुआ है, जिससे 15 करोड़ लोगों को लाभ मिला है।
ग्रामीण क्षेत्रों के लिए वरदान
ये अन्नपूर्णा भवन ग्रामीण और कस्बाई क्षेत्रों के लिए विशेष रूप से लाभकारी होंगे।
एक ही स्थान पर राशन, बिल जमा, प्रमाण पत्र, और अन्य सेवाएं उपलब्ध होने से लोगों का समय बचेगा और उनकी सुविधा बढ़ेगी।
बरेली मंडल में पायलट प्रोजेक्ट के तहत 52 अन्नपूर्णा भवनों का निर्माण शुरू हो चुका है, और जल्द ही इसे पूरे प्रदेश में लागू किया जाएगा।